एसएंडपी बीएसई सेंसेक्स में 1,580.01 अंकों की जबरदस्त बढ़त दर्ज की गई और यह सुबह 9:22 बजे तक 76,737.27 के स्तर पर पहुंच गया। वहीं, एनएसई निफ्टी50 में 467.30 अंकों की तेजी देखी गई और यह 23,295.85 के स्तर पर पहुंच गया।

भारतीय शेयर बाजार में शुक्रवार की सुबह निवेशकों के लिए जबरदस्त मुनाफे की सौगात लेकर आई। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा ऑटो टैरिफ (Import Duty) पर विराम के संकेत देने के बाद वैश्विक बाजारों में सकारात्मक माहौल बन गया, जिसका सीधा असर भारतीय शेयर बाजार पर भी पड़ा। बीएसई सेंसेक्स में 1,580.01 अंकों की जोरदार छलांग देखने को मिली और यह 76,737.27 के स्तर पर पहुंच गया। वहीं, एनएसई निफ्टी 467.30 अंकों की तेजी के साथ 23,295.85 पर ट्रेड करता दिखाई दिया।
सुबह की शुरुआत से ही बाजार में उत्साह
बाजार खुलते ही निवेशकों में भारी उत्साह देखा गया। सुबह 9:15 बजे खुलते ही सेंसेक्स और निफ्टी दोनों में तेजी देखने को मिली। यह तेजी मुख्य रूप से वैश्विक संकेतों और अमेरिकी नीति में नरमी की वजह से आई।
9:22 बजे तक सेंसेक्स 1,580 अंकों की बढ़त के साथ 76,700 के पार पहुंच गया, जो एक दिन में हुआ अब तक का सबसे तेज़ उछाल माना जा रहा है। वहीं, निफ्टी भी 23,295 अंकों के नए स्तर पर ट्रेड करता दिखाई दिया।
ट्रंप के बयान का असर
इस उछाल का सबसे बड़ा कारण माना जा रहा है अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का वह बयान, जिसमें उन्होंने संकेत दिए कि अमेरिका कुछ समय के लिए ऑटोमोबाइल्स पर नए आयात शुल्क लगाने के फैसले पर विचार कर रहा है। ट्रंप के इस बयान से वैश्विक निवेशकों में आश्वासन और स्थिरता की भावना उत्पन्न हुई है।
अमेरिका द्वारा आयात शुल्क लगाने की संभावनाओं से पहले वैश्विक बाजारों में अनिश्चितता का माहौल था, लेकिन ट्रंप की इस टिप्पणी ने बाजारों को राहत दी है।
कौन-कौन से सेक्टर में आई तेजी?
तेजी का असर बाजार के लगभग सभी सेक्टर्स पर दिखाई दिया, लेकिन कुछ क्षेत्रों में यह उछाल खासतौर पर देखने लायक रहा:
- ऑटो सेक्टर
ट्रंप के बयान का सीधा फायदा ऑटो कंपनियों को हुआ। महिंद्रा एंड महिंद्रा, टाटा मोटर्स, मारुति सुजुकी जैसी कंपनियों के शेयरों में 4% से 6% तक की तेजी देखी गई। - बैंकिंग और फाइनेंस सेक्टर
एचडीएफसी बैंक, एसबीआई, कोटक महिंद्रा बैंक जैसे बैंकिंग शेयरों ने भी बढ़िया प्रदर्शन किया। बैंक निफ्टी में करीब 2.5% की तेजी दर्ज की गई। - आईटी और टेक्नोलॉजी
अमेरिका में संभावित राहत के कारण आईटी सेक्टर को भी मजबूती मिली। इन्फोसिस, टीसीएस, विप्रो के शेयरों में लगातार खरीदारी देखी गई।
विदेशी निवेशकों की भूमिका
विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (FPI) ने भी आज के बाजार में बड़ी भूमिका निभाई। ट्रंप के बयान के बाद उन्होंने भारतीय बाजारों में तेजी से निवेश बढ़ाया, जिससे इंडेक्स को और सहारा मिला।
एक रिपोर्ट के अनुसार, FPI ने आज सुबह के सत्र में ही लगभग ₹4,200 करोड़ की खरीदारी की, जो इस साल के एक दिन में सबसे बड़ी खरीदारी मानी जा रही है।
निवेशकों के लिए क्या मायने रखता है यह उछाल?
इस तेजी से छोटे और मंझोले निवेशकों को बड़ा फायदा हुआ है। जिन्होंने हाल ही में शेयर बाजार में निवेश किया था, उन्हें आज के सत्र में अच्छा रिटर्न देखने को मिला। साथ ही, इस तेजी ने बाजार में चल रही अनिश्चितता को भी कुछ हद तक कम कर दिया है।
वित्तीय सलाहकारों का कहना है कि यह तेजी लॉन्ग टर्म निवेश के लिए सकारात्मक संकेत है, लेकिन निवेशकों को जल्दबाज़ी में निर्णय नहीं लेने की सलाह दी गई है।
विशेषज्ञों की राय
वित्तीय विश्लेषक विवेक गुप्ता कहते हैं:
“ट्रंप के बयान का असर केवल अमेरिकी बाजार तक सीमित नहीं रहा। भारत जैसे उभरते बाजारों में भी इसका सीधा असर देखा गया है। ऑटो और बैंकिंग सेक्टर की अगुवाई में बाजार में जबरदस्त उछाल आया है।”
मार्केट एक्सपर्ट निधि अग्रवाल का कहना है:
“हालांकि बाजार में यह तेजी स्वागतयोग्य है, लेकिन निवेशकों को सतर्क रहना चाहिए। यह तेजी मुख्य रूप से अंतरराष्ट्रीय कारकों पर आधारित है, जो कभी भी बदल सकते हैं।”
बीते हफ्ते कैसा रहा था बाजार?
पिछले सप्ताह बाजार में मिलाजुला प्रदर्शन देखा गया था। वैश्विक मंदी की आशंका, कच्चे तेल की कीमतों में अस्थिरता और अमेरिका-चीन व्यापार युद्ध की संभावनाओं ने निवेशकों को सतर्क कर दिया था। सेंसेक्स और निफ्टी दोनों ही पिछले हफ्ते हल्की गिरावट के साथ बंद हुए थे।
बाजार का अगला रुख क्या हो सकता है?
भविष्य में बाजार का रुख कई कारकों पर निर्भर करेगा:
अमेरिका की नीतियां और टैरिफ से जुड़े फैसले
भारत में जारी चुनावी माहौल
विदेशी निवेशकों की भावनाएं
रुपये और कच्चे तेल की कीमतों में उतार-चढ़ाव
अगर ये सभी कारक सकारात्मक रहते हैं, तो विशेषज्ञ मानते हैं कि सेंसेक्स 77,500 और निफ्टी 23,500 के स्तर को भी छू सकते हैं।
निवेशकों के लिए सलाह
लॉन्ग टर्म निवेशक घबराएं नहीं, धैर्य बनाए रखें।
शॉर्ट टर्म ट्रेडर्स को प्रॉफिट बुकिंग का मौका मिल सकता है।
सेक्टर आधारित निवेश पर ध्यान दें, खासकर ऑटो, बैंकिंग और आईटी।
नए निवेशक बाजार की चाल को समझकर ही कदम उठाएं।
निष्कर्ष
भारतीय शेयर बाजार में शुक्रवार को आई यह जोरदार तेजी, वैश्विक और घरेलू कारकों का समन्वय है। ट्रंप के बयान ने जहां वैश्विक निवेशकों को राहत दी, वहीं भारतीय बाजारों ने इसका भरपूर स्वागत किया। अब देखना यह होगा कि क्या यह तेजी आने वाले सप्ताहों में भी कायम रह पाती है या यह सिर्फ एक अस्थायी राहत है।