श्योपुर के कूनो नेशनल पार्क में नामीबिया से आए चीतों की मॉनिटरिंग के लिए विशेष सुरक्षा टीम के साथ-साथ दो हाथियों को भी लगाया गया है. ये हाथी सुरक्षा टीम के साथ पार्क की पेट्रोलिंग भी करते हैं. एक माह पूर्व इन्हें सतपुड़ा टाइगर रिजर्व से लाया गया था.

मध्य प्रदेश के कूनो राष्ट्रीय पार्क में दक्षिण अफ्रीका के नामीबिया से लाये गये 8 चीतों की रक्षा की जिम्मेदारी 2 भारतीय हाथियों पर है. इन दो हाथियों को चीतों की रक्षा के लिए कूनो राष्ट्रीय पार्क में तैनात किया गया है और ये दोनों दिन-रात गश्त भी कर रहे हैं. इन हाथियों को विशेष प्रशिक्षण देकर पार्क में तैनात किया गया है. दोनों हाथी चीतों की निगरानी के साथ उनके आसपास हिंसक पशुओं को भटकने से भी रोकेंगे. इन हाथियों को चीतों को क्वारेंटाइन रखने के लिए बनाए गए विशेष बाड़े के नजदीक तैनात किया गया है.
चीतों की सुरक्षा की जिम्मेदारी सिद्धनाथ और लक्ष्मी पर
इन दो हाथियों सिद्धनाथ और लक्ष्मी पर नामीबिया से लाये गये 8 चीतों की रक्षा की जिम्मेदारी है. कूनो राष्ट्रीय पार्क के प्रबंधन ने एक महीने की विशेष ट्रेनिंग देकर इन हाथियों को पार्क में तैनात किया गया है. ये दोनों ही हाथी सतपुड़ा टाइगर रिजर्व से लाये गये हैं. सिद्धनाथ हाथी 41 साल और लक्ष्मी 10 साल की है. गौरतलब है कि इन 8 चीतों को मध्य प्रदेश के कूनो राष्ट्रीय पार्क में 17 सितंबर को छोड़ा गया था. इस दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जन्मदिन था और उन्होंने ही नामीबिया से लाये गये चीतों को बाड़े में छोड़ा था. यहां क्वारंटाइन बाड़े में तीन नर और पांच मादा चीतों को छोड़ा गया था. तब से ही पार्क प्रबंधन इन मेहमानों की सुरक्षा में लगा हुआ है और तमाम इंतजाम किये हैं.
चीतों को हिंसक पशुओं से बचाएंगे ये हाथी
यह दोनों हाथी चीतों की निगरानी के साथ उनके आसपास किसी हिंसक पशु को भटकने से भी रोकेंगे. बताया जा रहा है कि ये दोनों ही हाथी गश्त और रेस्क्यू में एक्सपर्ट हैं. दोनों हाथियों को किसी भी वन्यप्राणी को काबू करने, गश्त करने या रेस्क्यू आपरेशन में महारथ हासिल है. इन्हें इसके लिए विशेष तौर पर प्रशिक्षित भी किया गया है. लक्ष्मी व सिद्धनाथ की इन्हीं खूबियों को देखते हुए उन्हें एक पखवाड़े पहले कूनो पहुंचाया गया. यहां इन्हें चीतों को क्वारेंटाइन रखने के लिए बनाए गए विशेष बाड़े के नजदीक तैनात किया गया है.
कूनों के विशेष बाड़े में एक महीने तक क्वारंटाइन रहेंगे चीते
नामीबिया से लाए गए आठों चीते विशेष बाड़े में एक माह तक क्वारेंटाइन रहेंगे/ इस दौरान लक्ष्मी व सिद्धनाथ भी कूनो में ही इनकी निगरानी करेंगे. बाड़े के अंदर या आसपास कोई अन्य वन्यप्राणी न आए इसके लिए सिद्धनाथ और लक्ष्मी गश्त करेंगे. यह भी कहा जा रहा है कि जरुरत पड़ने पर कूनो में इनकी तैनाती की अवधि बढ़ाई जा सकती है. लक्ष्मी और सिद्धनाथ की कूनो में तैनाती के बाद सतपुड़ा रिजर्व में 9 हाथी रह गए हैं.