उन्होंने कहा, ‘जब हम हेल्थ सेक्टर में समग्रता की बात करते हैं तो इसमें दो फैक्टर्स का समावेश कर रहे हैं. पहला- आधुनिक चिकित्सा विज्ञान से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर और ह्यूमेन रिसोर्स का विस्तार. दूसरा- आयुष जैसी पारंपरिक भारतीय चिकित्सा पद्धति में अनुसंधान को प्रोत्साहन करना.’

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज स्वास्थ्य मंत्रालय के केंद्रीय बजट वेबिनार को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने कहा, ‘ये बजट बीते 7 साल से हेल्थकेयर सिस्टम को रिफॉर्म और ट्रांसफॉर्म करने के हमारे प्रयासों को विस्तार देता है. हमने अपने हेल्थकेयर सिस्टम में एक समग्र दृष्टिकोण को अपनाया है. आज हमारा फोकस हेल्थ पर तो है ही, इसके अलावा, कल्याण पर भी है.’
उन्होंने कहा, ‘जब हम हेल्थ सेक्टर में समग्रता की बात करते हैं तो इसमें तीन फैक्टर्स का समावेश कर रहे हैं. पहला- आधुनिक चिकित्सा विज्ञान से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर और ह्यूमेन रिसोर्स का विस्तार. दूसरा- आयुष जैसी पारंपरिक भारतीय चिकित्सा पद्धति में अनुसंधान को प्रोत्साहन करना. तीसरा- आधुनिक और भविष्य की तकनीक के माध्यम से देश के हर व्यक्ति, हर हिस्से तक बेहतर और सस्ती स्वास्थ्य सेवा सुविधाएं पहुंचाना.’ पीएम ने कहा, ‘हमारा प्रयास है कि क्रिटिकल हेल्थकेयर सुविधाएं ब्लॉक स्तर, जिला स्तर और गांवों के नजदीक हों. इस इंफ्रास्ट्रक्चर को बनाए रखना और समय-समय पर अपग्रेड करना जरूरी है. इसके लिए प्राइवेट सेक्टर और दूसरे सेक्टर्स को भी ज्यादा ऊर्जा के साथ आगे आना होगा.’
‘बजट में मेंटल हेल्थकेयर की सुविधा’
उन्होंने कहा, ‘प्राइमरी हेल्थकेयर नेटवर्क को सशक्त करने के लिए डेढ़ लाख हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर्स के निर्माण का काम भी तेजी से चल रहा है. अभी तक 85,000 से अधिक सेंटर्स रुटीन चेकअप, वैक्सीनेशन और टेस्ट की सुविधा दे रहे हैं. इस बार के बजट में इनमें मेंटल हेल्थकेयर की सुविधा भी जोड़ी गई है.’ प्रधानमंत्री ने कहा, ‘जैसे-जैसे हेल्थ सर्विस की डिमांड बढ़ रही है. इसके अनुसार ही हम स्किल्ड हेल्थ प्रोफेशनल्स तैयार करने का भी प्रयास कर रहे हैं. इसलिए बजट में हेल्थ एजुकेशन और हेल्थकेयर से जुड़े ह्यूमन रिसोर्स डेवलपमेंट के लिए पिछले साल की तुलना में बड़ी वृद्धि की गई है.’